Included in the UGC-CARE list (Group B Sr. No 172)

अपूर्ण

सब कह्ते हैं मैं अपूर्ण हूँ
स्वयं भी तो कहती हूँ
मैं अपूर्ण हूँ

अपूर्णता का कारण बस एक
जन्म न दे पाई एक भी पुत्र
तीन - तीन पुत्रियों की माँ
फिर भी अपूर्ण

सम्पूर्णता पुत्र देता है या
स्वस्थ सम्पूर्ण सोच

हम सोच से अपूर्ण हैं
तो कभी सम्पूर्ण नहीं बन पाएँगे
इसलिए मैं अपूर्ण हूँ |

स्मिता मिश्रा, शोध एवं शिक्षण सहायक (हिंदी), मानविकी विद्यापीठ, इग्नू, नई दिल्ली - ६८ मोबा. ९७१७६८२२४९ Email - namaskarsmita@gmail.com